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नवी मुंबई : घनसोलीगांव स्थित 'एन पी एस स्कॉलर्स एकेडमी स्कूल एंड कॉलेज' स्कूल में 'लीविंग सर्टिफिकेट (एलसी)/ट्रांसफर सर्टिफिकेट' जारी करने के लिए जुर्माने के नाम पर अभिभावकों से अवैध रूप से पैसे वसूले जा रहे हैं। इस संबंध में अभिभावकों का खूब शोषण किया जा रहा है और कुछ जागरूक अभिभावकों ने इस संबंध में नवी मुंबई शिक्षा अधिकारी अरुणा यादव और शिक्षा विभाग की उपायुक्त संघमित्रा खिल्लारे से लिखित शिकायत दर्ज कराई है।
शिकायत की जांच के लिए शिक्षा अधिकारी ने अभिभावकों के फोन के जरिए एनपीएस स्कूल से संपर्क किया था। इस समय स्कूल प्रिंसिपल अंजुम शेख से बात करते समय 'मैं नवी मुंबई का शिक्षा अधिकारी हूं' के रूप में अपना परिचय देने के बावजूद उनसे उलटा पूछा, 'आप कौन हैं और आपका नाम क्या है? नवी मुंबई का शिक्षा अधिकारी कौन है और उनका नाम क्या है?' अगर यह पता नहीं है तो यह बहुत बड़ी त्रासदी और खेदजनक बात है। इससे स्कूल के शिक्षकों और प्रिंसिपलों की शैक्षणिक योग्यता पर सवालिया निशान लग गया है और अभिभावक इस संबंध में जांच की मांग कर रहे हैं।
शिक्षा अधिकारी ने आगे कहा कि, 'किस स्कूल के नियम के तहत अभिभावकों से जुर्माने के तौर पर पैसे वसूले जाते हैं? ऐसा कोई नियम या कानून नहीं है। यह गैरकानूनी है। हालांकि, इसका जवाब देते हुए स्कूल प्रिंसिपल ने बात पलट दी। शिक्षा अधिकारी, विस्तार अधिकारी और केंद्र प्रमुख समन्वयक के बार-बार निर्देश के बावजूद मुजोर स्कूल प्रबंधन द्वारा अभिभावकों को आज तक उनके बच्चे का स्कूल प्रमाण पत्र नहीं दिया गया है। इस तरह स्कूल द्वारा अभिभावकों का शोषण दिन-प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है। इसी बीच एडमिशन लेने वाला दूसरा स्कूल अभिभावकों से प्रमाण पत्र मांग रहा है, जिससे अभिभावक असमंजस की स्थिति में हैं। अभिभावकों ने अनुरोध और मांग की है कि नवी मुंबई शिक्षा प्रशासन जल्द से जल्द इस पर निर्णय लेकर अभिभावकों को न्याय दिलाए और स्कूल के खिलाफ उचित कार्रवाई करे।
Reporter - Khabre Aaj Bhi
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