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जौनपुर: नाबालिग लड़की का अपहरण करने के आरोपित के साथ ही विधिक प्रावधानों की अवहेलना के मामले में पुलिस अधीक्षक राज करन नय्यर व तत्कालीन थानाध्यक्ष सिगरामऊ के खिलाफ सीजेएम कोर्ट में वाद दर्ज किया गया है। सिगरामऊ थाना क्षेत्र निवासी वादी ने कोर्ट में धारा १५६ (३) के तहत प्रार्थना पत्र दिया कि उसकी १७ वर्ष की पुत्री को २८ मार्च २०२१ को ५.३० बजे सुबह आरोपित मोनू बहला-फुसलाकर गायब कर दिया। थाने पर दरखास्त दिया तो दारोगा कहे कि आरोपित के घर जाकर पता लगाओ जब वादी आरोपित के घर गया तो वह घर से गायब था। लोगों से पता चला कि आरोपित वादी की पुत्री का अपहरण करके ले गया है। उसे वेश्यावृत्ति के लिए बेच देगा तथा साक्ष्य मिटाने के लिए उसकी हत्या कर देगा।
५ अप्रैल २०२१ को क्षेत्राधिकारी, पुलिस अधीक्षक, पुलिस महानिरीक्षक वाराणसी, राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग, राष्ट्रीय महिला आयोग को प्रार्थना पत्र दिया, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। थानाध्यक्ष ने विधिक प्रावधानों की अवहेलना करते हुए अपने पदीय कर्तव्यों का निर्वहन नहीं किया। एसपी ने भी दरखास्त के बावजूद कोई सुनवाई नहीं की, जबकि महिलाओं से जुड़े इस तरह के अपराध में एफआइआर दर्ज न करना दंडनीय अपराध है।
Reporter - Khabre Aaj Bhi
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