To view this video please enable JavaScript, and consider upgrading to a web browser that supports HTML5 video
गाजीपुर : क्षय रोग (टीबी) के उन्मूलन के लिए समुदाय को लगातार जागरूक किया जा रहा है। इसी क्रम में सोमवार को मियांपुर स्थित नेशनल कैडेट कोर (एनसीसी) कार्यालय पर स्वास्थ्य विभाग ने टीबी पर एक संवेदीकरण कार्यशाला का आयोजन किया। इसका आयोजन जिलाधिकारी आर्यका अखौरी के निर्देशन व मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ देश दीपक पाल के नेतृत्व में किया गया। इस दौरान जिला क्षय रोग अधिकारी डॉ मनोज कुमार, जिला कार्यक्रम समन्वयक (डीपीसी) डॉ मिथलेश कुमार सिंह, जिला पब्लिक प्राइवेट मिक्स समन्वयक (डीपीपीएमसी) अनुराग कुमार पाण्डेय और एसटीएस सुनील कुमार यादव ने एनसीसी के अधिकारियों और छात्रों को टीबी मुक्त भारत अभियान में सहयोग करने का आग्रह किया।
एनसीसी के कर्नल सीओ अजय उनियाल ने आश्वस्त किया कि वह टीबी के खिलाफ जंग में जनपद प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग के साथ हैं। एनसीसी के समस्त कैडेट समुदाय में लोगों को टीबी रोग के प्रति जागरूक करेंगे। प्रिंट व इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के जरिये हमने टीबी मुक्त भारत अभियान के बारे में बहुत कुछ सुना है। देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का भी विजन है कि वर्ष 2025 तक देश टीबी मुक्त हो जाए। इसके लिए हम सबको एक साथ टीबी के खिलाफ आवाज उठानी होगी। स्वास्थ्य अधिकारियों के द्वारा बताया गया कि लगातार दो हफ्ते या उससे अधिक खांसी आना, खांसी के साथ बलगम व कभी कभी खून आना, रात में पसीना आना, भूख न लगना और वजन में लगातार गिरावट टीबी हो सकती है। ऐसे लक्षण दिखाई देने पर तुरन्त नजदीकी स्वास्थ्य केन्द्र पर सम्पर्क करें।
डीपीसी डॉ मिथलेश कुमार सिंह ने बताया कि वर्ष 2025 तक टीबी मुक्त भारत बनाने के लिए सरकार की ओर से हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं। इसके लिए विशेष अभियान चलाये जा रहे हैं। विभागीय अधिकारी व कर्मचारी के साथ ही अन्य स्टेकहोल्डर्स, निजी चिकित्सक, मेडिकल स्टोर आदि इसकी रोकथाम के लिए जुटे हुये हैं। ऐसे में आम जनमानस की भी ज़िम्मेदारी बनती है कि वह इन बीमारियों से बचाव के लिए सतर्क व जागरूक रहें। इस दौरान एनसीसी के अधिकारियों को ‘टीबी हारेगा देश जीतेगा’, ‘जन जन को जगाना है टीबी को भागना है’, ‘टीबी से बचाव करें और अपनों का ख्याल करें’ एवं ‘अपने बच्चों को बीमारियों से बचाएंगे, सब काम छोड़ पहले टीकाकरण कराएंगे’ आदि जन जागरूकता के संदेश दिये गए।
डॉ मिथलेश ने बताया कि क्षय रोग से संबन्धित सभी प्रकार की जांच, दवाएं सभी सरकारी चिकित्सालयों में मौजूद हैं। निक्षय पोषण योजना के तहत टीबी के नए मरीज को उपचार के दौरान 500 रुपये प्रति माह अच्छे पोषण के लिए सरकार द्वारा दिये जा रहे हैं। निजी चिकित्सालयों में भी जिन टीबी मरीजों का इलाज चल रहा है, उन को भी 500 रुपये सरकार द्वारा प्रदान किया जाता है। यदि कोई व्यक्ति नए क्षय रोगी की प्रथम सूचना देता है तो उसे भी सरकार द्वारा 500 रुपये प्रदान किए जाते हैं। इस मौके पर सूबेदार रतन बहादुर घाले, डीपीसी डॉ मिथलेश कुमार सिंह, डीपीपीएमसी अनुराग कुमार पाण्डेय, एसटीएस सुनील, नरेंद्र राय, रामचरन गौड़ एवं अन्य लोग उपस्थित रहे।
Reporter - Khabre Aaj Bhi
0 followers
0 Subscribers