विश्व रैबीज दिवस पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय के सभागार में आयोजित हुआ गोष्ठी

By: Izhar
Sep 28, 2022
207

गाजीपुर : विश्व रैबीज दिवस जो प्रत्येक साल 28 सितंबर को मनाया जाता है जिसका मुख्य उद्देश्य आमजन को इससे कैसे बचाया जा सके और लोगों में जागरूकता फैलाना ही इसका मुख्य उद्देश है। इसी को लेकर आज मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय के सभागार में एक गोष्ठी का आयोजन अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ उमेश कुमार की अध्यक्षता में किया गया। इस दौरान गोष्ठी में शामिल लोगों ने जानवरों के काटने या कुत्ते के काटने के बाद तत्काल क्या करना चाहिए और यदि कुत्ता काट देता है तो इससे बचाव के कौन-कौन से उपाय है इस पर चर्चा की गई।

एसीएमओ डॉ उमेश कुमार ने बताया की रैबीज एक विषाणुजनित संक्रामक जानलेवा बीमारी है। यह वायरस संक्रमित पशुओं के काटने और खरोंचने से मनुष्यों में फैलता है। इसकी रोकथाम के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए प्रतिवर्ष 28 सितंबर को विश्व रैबीज दिवस मनाया जाता है। रैबीज की रोकथाम की नींव फ्रांस के प्रसिद्ध जीव विज्ञानी लुई पाश्चर ने रखी थी। उन्होंने विश्व में रैबीज का पहला टीका विकसित किया था। उन्हीं की पुण्यतिथि पर प्रत्येक वर्ष विश्व रैबीज दिवस मनाया जाता है।

उन्होंने बताया की इस दिवस की शुरूआत 28 सितंबर 2007 को एलायंस फार रैबीज कंट्रोल एवं सेंटर फार डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन, यूएसए तथा विश्व स्वास्थ्य संगठन के सहयोग से की गई थी। डब्ल्यूएचओ ने वर्ष 2022 के लिए इस दिवस का थीम रैबीज फैक्ट, नाट फियर...रखा है। इसका उद्देश्य पूरे विश्व में वर्ष 2030 तक रैबीज बीमारी के प्रकोप को खत्म करना है। रैबीज बीमारी आमतौर पर पागल जानवरों के काटने से होती है।

रैबीज की मुख्य वजह न्यूरोट्रोपिक लाइसिसिवर्स नामक वायरस होता है। यह विकार संक्रमित जानवर की लार द्वारा फैलता होता है। जो लार ग्रंथियों और केंद्रीय तंत्रिका तंत्र को प्रभावित करती है। आमतौर पर पागल जानवर के काटने और और खरोंचने से होता है। रैबीज के लक्षण दिखाई देने की समयावधि चार दिनों से लेकर दो वर्ष तक या कभी कभी उससे भी अधिक हो सकती है। इसलिए इसके घाव के वायरस को जल्द से जल्द हटाना जरूरी होता है। इसके घाव को तुरंत पानी और साबुन से धोना चाहिए। इसके बाद एंटीसेप्टिक का उपयोग करना चाहिए ताकि किसी भी प्रकार के संक्रमण की संभावना को कम किया जा सके। इस गोष्ठी में डॉ जे एन सिंह, डॉ मनोज कुमार, डॉ सुजीत कुमार मिश्रा, जिला मलेरिया अधिकारी मनोज कुमार, राधेश्याम, सोमारू, अजय ,डॉ शाहबाज के साथ ही अन्य लोग मौजूद रहे।


Izhar

Reporter - Khabre Aaj Bhi

Who will win IPL 2023 ?