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मुंबई : साकीनाका पोलिस थाना अंतर्गत काजुपाड़ा में झगड़े का दहशत फैलाकर सात लोगो ने सामाजिक नामी पत्रकार की पत्नी का सोने का १लाख अठाईस हजार के लगभग गले का मंगल सूत्र,चैन,बाली लेकर फरार हो गए।पीड़ित के १०० नंबर पोलिस को फ़ोन के बाद आरोपी मुम्बई पोलिस के हत्थे चढ़ गए जिनपर छिनैती व इत्यादि आयी पि सी की विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज किया है।
साकीनाका में काजुपाड़ा छेत्र के खोजी पत्रकार व समाज सेवक पवन पाठक की पत्नी पर सामूहिक कुछ लोगो ने निशाना बनाते हुये झगड़ा देखने गयी उनके ही घर की गल्ली में जान लेवा हमला करके लूटपाट किया।आखिर कुछ महिला गुंडो व पुरुषों दादाओ द्वारा दहसत फैलाने के उद्देश्य से यह वारदात को अंजाम दिया गया।जिसमे पत्रकार की पत्नी घायल हो जाती है। जिन्हें भीड़ से कुछ लोग बचते है। भीड़ और झगड़े का फायदा उठाकर कुछ प्रोफेसनल महिलाओ व पुरूष चोरो ने गले का मंगल सूत्र,सोने का चैन ,सोने की एक कान की बाली पर हाथ मार दिया। जिनकी पहचान पीड़िता ने करके सात लोग आरोपी नाम लक्षमण वीर, मिलिंद मोगरे,चंद्रकांत मोराजकर, रेश्मा २७ वर्ष ,मंगल वीर ५०वर्ष लगभग,इतर में विशाल पांढरे, ५० वर्षी शिंदे नामक महिला पर पोलिस में यफ आई आर दर्ज कराया है। सोने का दगिना खीचने के वजह से पत्रकार की पत्नी घायल हो गयी उनके पीछे का गला कट गया जिसका इलाज तुरंग भाभा अस्पताल में कराया गया।घटना के बाद घायल महिला के परिजनों ने पत्रकार पाठक को व १००नंबर कॉल पर पोलीस को सूचना दी। जिसपर साकीनाका पोलीस द्वारा ७ घंटे जांच के बाद लोगो पर ७ नामजद व दो अमुक लोगो पर मुकदमा दर्ज किया है। सभी आरोपियों की तलाश जारी है। खबर यह भी है कि दूसरे दिन ९ मार्च से पुलिस थाने में आरोपियों द्वारा पोलिस पर दबाव बनाकर छिनैती के दर्ज मुकदमे को खत्म करने के लिए पत्रकार व उनके परिवार को फर्जी मुकदमे में फंसाने की भी कोशिश हो रही है। पीड़ित पत्रकार परिवारदहसत में है। पीड़ित परिवार से बात करने पर यह पता चला है कि उनके साथ लगातार कुछ एक दो वर्षों में परिवार को पिताजी का अपहरण कर फिरौती मांगने की घटना घटी थी ,२०१८ में उनके बड़े नाबालिक बेटे पर गुंडो ने सामूहिक जान लेवा हमला करके घायल किया था ,घाटकोपर पोलिस में खंडनी मांगने वालों दो गुंडो पर मुकदमा दर्ज है।ऐसे में कई शिकायत एनसीआर, व इत्यादि पोलीस थानों में दर्ज है।साकीनाका पोलीस में २०१४ से लेकर पाठक परिवार पर हमले के 5 से ६ मामला दर्ज है। कई गम्भीर घटनाये समाचार से संबंधित पत्रकार पवन पाठक को धमकाने के लिए उनपर जान लेवा हमले के जो २०१४ में ओशिवारा व घाटकोपर पुलिस थाने में दर्ज भी है। मुम्बई में निर्भीक लेखनी के माने जाने वाले पत्रकार पवन पाठक प्रजाराज्यम स्वराज समाचार हिंदी साप्ताहिक के संचालक संपादक भी है जो कि बिना दागदार ८ वर्ष प्रकाशन गौरान्वित रहा है। सभी घटनाओं की जानकारी लेने पर पता चला कि उन्हें ७ मार्च २०२० को दोपहर के समय शाहीन बाग ,नागपाड़ा में एन आरसी/सीएए के धरने की सच्चाई की खबर वाट्सशॉप पर लिखने को लेकर मुसलमानों का धमकी भरा फ़ोन भी आया था जिसमे तीन से ४ काल ५ डिजिट के नम्बर से दुबई से आया था।जिसमे फोनकरता ने खुद को अंडरवर्ड के नाम के काल की धमकी दी " कहा कि तुम पवन पाठक हो ना मैं कहा हा ,तुमने नागपाड़ा की न्यूज़ में पोलिस को नागपाड़ा की शेरनी क्यो लिखा तुमने हमारे धरने की वीडियो रिकॉर्डिंग और हमारे विरोध में समाचार क्यो लिखा ,मैं जवाब दिया कि मेरा काम ही है सच्चाई लिखना दिखाना ,फोन कट होता है फिर कॉल आता है मैं उसका नाम पूछता हूँ तो सामने वाले ने धमकी देते हुये कहा कि मैं अंडरवर्ड से बात कर रहा हूँ। अगर तू नही माना तो जेडे पत्रकार की तरह मारा जायेगा।फिर मैं फ़ोन काट दिया। वापस फ़ोन आता है। कहता है कि तेरा परिवार को अब संभालना और फोन मैं वापस काट दिया। "जिसके बात मैने वॉटशॉप के माध्यम से पुलिस आयुक्त महोदय,गृहमंत्री महोदय,हमारे रीजन के पोलीसआयुक्त मनोज शर्मा महोदय व पवई एसीपी,चौकी इंचार्ज काजुपाड़ा,साकीनाका पोलिस थाना के वरिष्ठ निरीक्षक को लिखीत कॉल डिटेल के साथ स्क्रीन सॉर्ट मारकर शिकायत दर्ज कीया था।धमकी काल १५ घंटे बात मेरे पत्नी पर षड़यन्त्र करियो ने हमला करके अंजाम दिया और छिनैती की। बात करने पर घटना की जानकारी में पवन पाठक घटना स्थल पर वारदात के दिन नही होने की भी बात बताई और बताया कि हर बार पुलिस १००नम्बर हेल्प लाइन व सीपी कंट्रोल की मदद से ही उनकी उनके परिवार की जान माल हर बार बची है। पत्रकार का कहना है की यह सभी मेरे निष्पक्ष पत्रकारिता को रोकने मुझे भयभीत करने की कोशिश है। आपको बता दे कि सर्वोच्चन्यायले से प्रेस परिषद आयोग भी पत्रकारों उनके परिवार की सुरक्षा व फर्जी मुकदमो करने वाले पोलीस पर सख्त निर्देश दिए है।लेकिन साकीनाका पुलिस की गैरकानूनी लोगो के रिश्ते में अड़ंगा बन रहे पाठक को शांत करने के लिए उन्हें पुलिस थाने द्वारा टारगेट करके साकीनाका पोलिस माफियाओ के साथ मिलकर कई बार फर्जी मुकदमो में फंसाने व उनपर उनके परिवार पर हमला करके भयभीत करने की कोशिश की है। पाठक पत्रकार ने साकीनाका पोलिस के हिंसकआतंकी रवैये को रोकने लिए खुद को न्याय,व परिवार की जान माल की सुरक्षा लिए अपने मीडिया परिवार व सरकार से न्याय की गुहार लगाई है।
Reporter - Khabre Aaj Bhi
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