पनवेल में मानव श्रृंखला द्वारा बांग्लादेश सरकार के खिलाफ जोरदार विरोध प्रदर्शन

By: rajaram
Dec 14, 2024
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पनवेल : बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचार के खिलाफ संपूर्ण हिंदू समाज रायगढ़छाया ने पनवेल में विश्व मानवाधिकार दिवस पर मानव श्रृंखला के माध्यम से बांग्लादेश सरकार के खिलाफ जोरदार विरोध प्रदर्शन किया. इस मौके पर बांग्लादेश में हिंदू समुदाय पर हो रहे अत्याचार को तुरंत रोकने की मांग की गयी।पनवेल रेलवे स्टेशन से पनवेल बस डिपो तक हजारों मानव श्रृंखला बनाकर विरोध प्रदर्शन किया गया।

 भाजपा के उत्तर रायगढ़ जिला अध्यक्ष अविनाश कोली, तालुका अध्यक्ष अरुणशेठ भगत, शहर अध्यक्ष अनिल भगत, जिला उपाध्यक्ष जयंत पगडे, जिला महासचिव नितिन पाटिल, चारुशिला घरत, दीपक बेहरे, तालुका महासचिव प्रह्लाद केनी, राजेंद्र पाटिल, भूपेन्द्र पाटिल, पूर्व -नगरसेवक मनोहर म्हात्रे, संतोष शेट्टी, गणेश शेट्टी, तेजस कांडपिले, अभिमन्यु पाटिल, दर्शना भोईर, नीता माली, नेत्रा पाटिल, अजय बहिरा, मनोज भुजबल, एकनाथ गायकवाड़, राजू सोनी, महिला मोर्चा जिला अध्यक्ष अश्विनी पाटिल, वर्षा प्रशांत ठाकुर, स्वाति कोली, संजय जैन, जिला सचिव ब्रिजेश पटेल, अमित जाधव, किशोर सुरते, युवा मोर्चा के जिला अध्यक्ष मयूरेश नेतकर, दिनेश खानवकर, कामोठे अध्यक्ष रवि जोशी, रूपेश नागवेकर, प्रीतम म्हात्रे, विजय पाटिल, बीना गोगरी, संध्या शरबिद्रे, अनेश धवले, हर्ष वर्धन पाटिल, पूर्व पंचायत समिति सदस्य नीलेश पाटिल, केदार भगत, विद्या तामखेड़े, अनंत गायकवाड़ अविनाश गायकवाड़, योगेश लहणे, डॉ. कृष्णा देसाई, भीमराव पोवार के साथ-साथ विभिन्न संगठन बड़े पैमाने पर शामिल थे। इस समय 2570 हिन्दू बहनों ने आन्दोलन के अनुरूप अपना पंजीकरण कराया था। इस अवसर पर भारत माता की जय, जय जय श्री राम, कर्रा बंद करो अत्याचार बंद करो, एक है तो सुरक्षित है जैसे जोरदार नारे दिये गये। उसी समय बोर्ड दिखाया गया।

 बांग्लादेश में मुस्लिम कट्टरपंथियों द्वारा हिंदू समुदाय और अल्पसंख्यक समुदाय पर अत्याचार किया जा रहा है। उनके मंदिर, घर, दुकानें जलायी जा रही हैं. वहां हिंदू महिलाओं पर भी अमानवीय अत्याचार किए जाते हैं। अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग को इस पर ध्यान देना चाहिए और मुंडा, चकमा, कुकी, बौद्ध आदि आदिवासी और दलित हिंदू भाइयों को इस्लामी चरमपंथियों के अमानवीय अत्याचारों से मुक्त कराना चाहिए।

बांग्लादेश की सरकार भी हिंदुओं के साथ-साथ अन्य अल्पसंख्यकों पर अत्याचार को मौन स्वीकृति देती नजर आई है। बांग्लादेश में हाल ही में तख्तापलट हुआ है और मुहम्मद यूनुस के नेतृत्व में अराजकता की सरकार स्थापित की गई है। जब से यह सरकार अस्तित्व में आई है तब से बांग्लादेश के अल्पसंख्यक हिंदू कट्टरपंथी मुस्लिम अराजकतावादी मुसलमानों द्वारा प्रताड़ित किए जा रहे हैं। मुस्लिम कट्टरपंथियों द्वारा हमले, हत्या, लूटपाट, डकैतियां, आगजनी की घटनाएं, महिलाओं के खिलाफ हिंसा, अल्पसंख्यक समुदाय के बच्चों और महिलाओं के खिलाफ अमानवीय हिंसा भारत में हिंदू समुदाय के लिए चिंता का विषय है। यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि बांग्लादेश में इस तरह के सभी अत्याचार सरकारी एजेंसियों और पुलिस की देखरेख में हो रहे हैं। वहां के अल्पसंख्यकों को बचाने के बजाय रक्षा तंत्र मूकदर्शक बन गया है। वहीं, बांग्लादेश में हिंदुओं ने अपने खिलाफ हो रहे अन्याय और अत्याचार के बाद आवाज उठाने की कोशिश की। लेकिन वहां की सरकार ने उनकी आवाज दबा दी है. वहां के हिंदुओं ने विरोध करने की कोशिश की लेकिन बांग्लादेशी सरकार ने हिंदुओं के विरोध को कुचल दिया। इस्कॉन के हिंदू धार्मिक नेता श्री चिन्मय दास को अवैध रूप से गिरफ्तार किया गया था। उनके वकील मारे गये। उनके समर्थकों को भारतीय वीज़ा के साथ भी भारत में प्रवेश करने से रोक दिया गया। इन सभी अत्याचारों से भारत का हिन्दू समाज चिंतित है। इसलिए मानव शृंखला से समस्त हिंदू समाज की ओर से अत्याचारों को तत्काल रोकने की पुरजोर मांग की गयी. साथ ही अत्याचारों का पुरजोर विरोध भी किया गया ।

चौक- बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचार के विरोध में आज बड़ी संख्या में हिंदू इकट्ठा हुए थे. सभी भाषाएं, सभी पंथ, विभिन्न जातियां, अनेक हिंदू संगठन,नारी शक्ति, भगवा ध्वज, काली कलाई पर पट्टी बांधकर संपूर्ण हिंदू समाज एकजुट था। अनुशासित ढंग से, सभी नियमों का पालन करते हुए मानव शृंखला एवं आमसभा जैसा भव्य कार्यक्रम आयोजित किया गया ।


rajaram

Reporter - Khabre Aaj Bhi

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